Sunday, October 17, 2021

उपासक का विचार, Upasak Ka Vichar

 उपासक का विचार


उपासक का विहार निर्मल हो और उस के मन में भगवान के होने का पूरा निश्चय हो ! वह मंत्र का जाप करते हुए चलते फिरते, काम काज में, दिन में कई बार स्मरण करे की नाम की मंत्र का अधिष्ठाता, परम पुरुष, मेरे समीप है! मैं अकेला नहीं हूँ ! मेरा आराध्य देव मेरे अंग संग है  और मेरी सहायता और मेरा सरंक्षण करता है !



Shree Swami Satyanand ji Maharaj ji

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